यदि व्यपार में नजर लग गयी है और चलता हुआ व्यापार बंद हो गया है तो ये उपाय करें आपको लाभ मिलेगा -अमावस्या या शनिवार की सुबह एक नीम्बू ले व उसके चार टुकड़े कर दे , थोड़ी सी पीली सरसों, 21 काली मिर्च व 7 लोंग लेकर दूकान या फैक्ट्री में रख दे ( कही पर भी ) फिर संध्या के समय सभी चीज़ो को काले कपडे में बाँध कर के सूखे कुँए में फैंक आए । भूल से भी उस कुएं में न फैके जिस में पानी हो और लोग उस पानी को काम में लेते हो । याद रहे कुॅआ सुखा हो । आप इसको हर महीने करें । आपके व्यपार पर लगी नजर और किया-कराया और सभी तरह की बाधा दूर होगी और आपका व्यापार चलने लगेगा । व्यापार बाधा को दूर करने का अचूक उपाय हल्दी की 7 साबुत गाठें 7 गुड़ की डलियाँ, एक रूपये का सिक्का किसी पीले कपड़े में वीरवार को बांधकर रेलवे लाईन के पार फेंक दें, फेंकते समय अपनी कामना बोलें, इच्छा पूर्ण होने की सम्भावना हो जायेगी जरुरी कार्य से जाते समय करे यह टोटका घर के किसी भी कार्य के लिए निकलते समय पहले विपरीत दिशा में 4 पग जावें, इसके बाद कार्य पर चले जाएँ, कार्य जरूर बनेगा।परिवार में सुख-शान्ति और सम्रद्धि के लिए टोटका=परिवार में सुख-शान्ति और सम्रद्धि के लिए प्रतिदिन प्रथम रोटी के चार बराबर भाग करें, एक गाय को, दूसरा काले कुत्ते को, तीसरा कौए को और चौथा चौराहे पर रख दें। घर में सुख-शान्ति और सम्रद्धि के लिए टोटका= घर में सुख-शान्ति के लिए मिट्टी का लाल रंग का बन्दर, जिसके हाथ खुले हो, घर में सूर्य की तरफ़ पीठ करके रखें, ऐसा रविवार को करें।सुख-शान्ति सम्रद्धि और प्रसद्धि के लिए टोटका =चांदी के बर्तन में केसर घोल कर माथे पर टीका लगाना, सुख-शान्ति सम्रद्धि और प्रसद्धि देता है, यह प्रयोग वीरवार को करें।शादी न हो रही हो या पढ़ाई में दिक्कत हो =शादी न हो रही हो या पढ़ाई में दिक्कत हो तो पीले फूलों के दो हार लक्ष्मी-नारायण के मन्दिर में चढाये, आपका काम जरूर होगा, यह प्रयोग वीरवार शाम को करें। नौकरी में तबादले या स्थानांतर =अगर किसी को अपनी नौकरी में तबादले या स्थानांतर को लेकर कोई समस्या है तो ताम्बे की गडवी/ लोटे में लाल मिर्ची के बीज डालकर सूर्य को चढाने से समस्या दूर होती है। सूर्य को यह जल लगातार 21 दिनों तक चढाये। घर की बीमारी दूर करने के लिए टोटका =कंजकों को बुधवार के दिन साबुत बादाम, जो मन्दिर के बाहर बैठीं हों, देना चाहिए इससे घर की बीमारी दूर होती है। घर में समृद्धि =घर में बार-बार धन हानि हो रही हो तों वीरवार को घर के मुख्य द्वार पर गुलाल छिड़क कर गुलाल पर शुद्ध घी का दोमुखी (दो मुख वाला) दीपक जलाना चाहिए। दीपक जलाते समय मन ही मन यह कामना करनी चाहिए की भविष्य में घर में धन हानि का सामना न करना पड़े´। जब दीपक शांत हो जाए तो उसे बहते हुए पानी में बहा देना चाहिए।
स्तंभन तंत्र प्रयोग: स्तंभन क्रिया का सीधा प्रभाव मस्तिष्क पर पड़ता है। बुद्धि को जड़, निष्क्रय एवं हत्प्रभ करके व्यक्ति को विवेक शून्य, वैचारिक रूप से पंगु बनाकर उसके क्रिया-कलाप को रोक देना स्तंभन कर्म की प्रमुख प्रतिक्रिया है। इसका प्रभाव मस्तिष्क के साथ-साथ शरीर पर भी पड़ता है। स्तंभन के कुछ अन्य प्रयोग भी होते हैं। जैसे-जल स्तंभन, अग्नि स्तंभन, वायु स्तंभन, प्रहार स्तंभन, अस्त्र स्तंभन, गति स्तंभन, वाक् स्तंभन और क्रिया स्तंभन आदि। त्रेतायुग के महान् पराक्रमी और अजेय-योद्धा हनुमानजी इन सभी क्रियाओं के ज्ञाता थे। तंत्र शास्त्रियों का मत है कि स्तंभन क्रिया से वायु के प्रचंड वेग को भी स्थिर किया जा सकता है। शत्रु, अग्नि, आंधी व तूफान आदि को इससे निष्क्रिय बनाया जा सकता है। इस क्रिया का कभी दुरूपयोग नहीं करना चाहिए तथा समाज हितार्थ उपयोग में लेना चाहिए। अग्नि स्तंभन का मंत्र निम्न है। ।। ॐ नमो अग्निरुपाय मम् शरीरे स्तंभन कुरु कुरु स्वाहा ।। इस मंत्र के दस हजार जप करने से सिद्धि होती है तथा एक सौ आठ जप करने से प्रयोग सिद्ध होता है। स्तंभन से संबंधित कुछ प्रयोग निम्नलिखित है: 1....
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